छप्पय छंद का अर्थ
[ chheppey chhend ]
छप्पय छंद उदाहरण वाक्य
परिभाषा
संज्ञाउदाहरण वाक्य
अधिक: आगे- उन्होंने अधिकांश उपदेश छप्पय छंद में लिखे हैं।
- ( काव्यशास्त्र ) छप्पय छंद का एक भेद।
- हिंदी कवि गंग को रहीम ने एक छप्पय छंद पर
- वीर गाथा काल में उल्लाला तथा रोल को मिलकर छप्पय छंद की रचना की जाने से इसकी प्राचीनता प्रमाणित है।
- हिंदी कवि गंग को रहीम ने एक छप्पय छंद पर प्रसन्न हो ३ ६ लाख रुपए पुरस्कार में दिए थे।
- ( छप्पय छंद : दो रोला (११+१३) व एक उल्लाला (१५+१३) के संयोग से निर्मित छः चरणों वाला अर्ध सम मात्रिक संयुक्त छंद है )
- मूल आकार जो भी रहा हो , ' भक्तमाल ' में नाभादास ने छप्पय छंद में अपने पूर्ववर्ती अथवा समसामयिक लगभग दो सौ भक्तों का चरितगान किया है।
- इस पुस्तक में तिरहुत के राजा कीर्ति सिंह की वीरता , उदारता ,गुन ग्राहकता आदि का वर्णन ,बिच में कुछ देश भाषा के पद्ध रखते हुए अपभ्रंश भाषा के दोहा ,चौपाई ,छप्पय ,छंद ,गाथा आदि छन्दों में किया गया है अपभ्रंश की विशेषता यह है की यह की यह पूर्वी अपभ्रंश है |दूसरी विशेषता यह है की प्रायः देशभाषा कुछ कुछ अधिक लिए हुए है और उसमे तत्सम ,संस्कृत शव्दों का वैसा बहिस्कार नही है |तात्पर्य यह है की वः प्राकृत की रूढीओ से उतनी अधिक बंधी नही है | जैसे - रज्ज लुद्ध असलान बुद्धि बिक्क्म बले